◦•●◉✿महामारी का सबक✿◉●•◦
वायरस और सूक्ष्मजीव हमेशा से इस पृथ्वी पर हमारे साथ रहें हैं। चिंता की बात यह है कि जंगलों की अंधाधुंध कटाई, प्राकृतिक संसाधनों के दोहन, बढ़ते मांसाहार और भूमि के बेतहाशा खनन की वजह से यह हमारे शरीरों में अपना नया घर तलाश रहे हैं। उनके म्यूटेशन को रोकना है तो इंसानों को यह जीवनशैली बदलनी होगी।
◦•●◉✿ स्वस्थ रखेगा सह अस्तित्व ✿◉●•◦
खेती से दूरी, गायों से संपर्क में कमी से पोलैंड में बढ़ गए थे मानव प्रतिरक्षा कमजोर होने के मामले। संदेश स्पष्ट है कि प्रकृति के साथ सहअस्तित्व स्थापित करें।
◦•●◉✿संरक्षण में सहयोग✿◉●•◦
अपने आहार में स्थानीय स्तर पर उगते रहे मोटे अनाजों, सब्जियों, देसी फलों को शामिल करें। इससे न केवल माग बढ़ने से इनकी फसल चक्र में वापसी होगी, जैव विविधता बढ़ेगी, बल्कि हमारी प्रतिरोधक क्षमता में भी आश्चर्यजनक वृद्धि होगी। वृक्षारोपण में भी एक ही किस्म के सजावटी वृक्षों यथा पाम आदि की जगह स्थानीय वातावरण के लिए अनुकूलित देसी वृक्षों की विविध किस्मों यथा नीम, बरगद, पीपल, आम, जामुन आदि को रोपने से जैव विविधता समृद्ध होगी। सूची बहुत लंबी है, बस यह देखें कि आपके स्थानीय स्तर के लिए अनुकूलित देसी वृक्ष कौन से हैं। यह ही भविष्य में आपके हरित ऑक्सीजन प्लांट और कारगर औषधि साबित होंगे।
◦•●◉✿मांसाहार से मुक्ति✿◉●•◦
कोरोना पर अध्ययन के वुहान मॉडल ने स्पष्ट किया है कि मास सेवन का लालच अंततः हमारे अस्तित्व को ही संकट में डाल रहा है। यह जूनोटिक बीमारियों के स्थिल ओवर का सबसे बड़ा माध्यम है। ज्यादा से ज्यादा मास पाने के लिए पशुपालन की जगह पशु फार्मिंग की होड़ जानवरों के लिए हत्या है और मानव प्रजाति के लिए आत्महत्या | जीवों पर करुणा के भाव से, मांस उत्पादन के लिए एक ही किस्म के जीवधारियों को पालते विकसित करते चले जाने की प्रवृत्ति रुकेगी तो इसका जैव विविधता पर सकारात्मक प्रभाव पड़ना सुनिश्चित है।
◦•●◉✿कुदरत के काम में न दें दखल✿◉●•◦
जब हम प्राकृतिक पारिस्थितिक तंत्र की संपूर्णता को तोड़ते हैं या उसकी जगह पर एकल कृषि को लाते हैं, तो हम अपने लिए महामारी को बुलाने वाले हालात पैदा करते हैं। जैव विविधता को मजबूत करना ही वायरस के लिए सबसे बड़ा चक्रव्यूह है।
◦•●◉✿शरीर को बनाएं सख्त✿◉●•◦
तापमान में कृत्रिम रूप से अत्यधिक परिवर्तन करना अंतत: शरीर को कमजोर करता है। शरीर को मौसम के उतार चढ़ाव सहने दीजिए, योग-व्यायाम परिश्रम से सक्रिय रहिए, यह वायरस के हमलों को भी झेलना सीख जाएगा।
◦•●◉✿खाना अपने घर का अच्छा✿◉●•◦
स्थानीय स्तर पर उपलब्ध आहार का सेवन प्रतिरक्षा तंत्र को मजबूत बनाए. रखता है। अपनी संस्कृति, कृषि क्षेत्र तथा मौसम के मुताबिक सुझाए आहार को अपनाना स्वस्थ रहने का सर्वश्रेष्ठ उपाय है।
◦•●◉✿ Thank you ✿◉●•◦
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